प्रेमियों ! पर्चा बांटकर, पोस्टर लगाकर, किताब छपवाकर बांटकर, फेरी निकालकर, कैसे भी हो, शाकाहार नशामुक्ति का करो प्रचार...




प्रेमियों ! पर्चा बांटकर, पोस्टर लगाकर, किताब छपवाकर बांटकर, फेरी निकालकर, कैसे भी हो, शाकाहार नशामुक्ति का करो प्रचार
आने वाली तकलीफों, बीमारियों, लड़ाई-झगड़ा, आगजनी, भूकंप अतिवृष्टि अनावृष्टि से लोगों को बचाना है
सागर (मध्य प्रदेश) : आगामी कुदरती कहर से बड़े पैमाने पर होने वाले विनाश से लोगों को बचाने के लिए अनवरत लगने और अपने भक्तों को लगाने वाले, वक़्त के त्रिकालदर्शी सन्त दुःखहर्ता, उज्जैन वाले बाबा उमाकान्त महाराज ने 31 जनवरी 2024 को रायसेन (म.प्र.) में दिए व अधिकृत यूट्यूब चैनल जयगुरुदेवयूकेएम पर लाइव प्रसारित संदेश में बताया कि आदमी जो बुद्धि विवेक से पूर्ण है, परमात्मा रूप है। जब सच्चे महात्मा का सतसंग मिलता है तो हैवान से इंसान और फिर इंसान से भगवान हो जाता है। राम, कृष्ण मनुष्य शरीर में ही थे। उनकी पूजा क्यों होती है? क्योंकि उनके अंदर वो गुण आ गए थे, जानकारी हो गई थी। विश्वामित्र वशिष्ठ जैसे गुरु मिले इसलिए वह भगवान हो गए। जब कोई पैदा होता है तो आज्ञानी ही रहता है। टट्टी-पेशाब, नहाना-धोना, आचार-विचार, आहार-व्यवहार कुछ नहीं जानता है। (इसलिए पूरे समरथ गुरु करना जरुरी है)
पेट को कब्रिस्तान मत बनाओ
यह मानव मंदिर है। इसके अंदर कोई भी मुर्दा मांस मत डालना। सब नये-पुराने लोग अपने-अपने स्तर से यह बात लोगों को बताओ कि लोग शाकाहारी हो जाएं। शाकाहारी रहेंगे, बुद्धि-विवेक, दिल-दिमाग सही रहेगा, शरीर से प्रकृति भगवान के खिलाफ काम नहीं होगा तो खुश रहेगा नहीं तो- बज रहा काल का डंका कोई बचने न पाएगा। बचेगा साध जन कोई जो सत से लौ लगाएगा।। अभी आपने बीमारियां, लड़ाई-झगड़ा, आगजनी, धरती का हिलना, भूकंप, अतिवृष्टि, अनावृष्टि कहां देखी? यह तकलीफें तो आगे आ रही हैं। इसलिए प्रेमियों उससे बचना है और लोगों को बचाना है। लोगों को शाकाहारी नशा मुक्त चरित्रवान बनाना है। उसके लिए आप लोग प्रचार करो।
जन-जन तक संदेश कैसे देना है
जो पुराने सत्संगी कार्यकर्ता हो आप योजना बना लो। कैसे भी प्रचार करो- पर्चा बांटकर, फेरी निकालकर, पोस्टर लगा कर, किताब छाप कर लोगों को देकर के करो, उनको पढ़वा करके करो, टोलिया निकाल करके करो, दफ्तर में जहां रहते हो वही शाकाहारी का सन्देश देते रहो, नौकरी करते रहो लेकिन समय मिल जाए तो अपने साथ के लोगों को समझाते रहो, दुकान पर आने वाले ग्राहकों को समझते रहो, किसान, मजदूर, स्त्री-पुरुष विद्यार्थी पढ़े-लिखे आप जहां भी हो, अपनी-अपनी जगह पर लोगों को समझते-बताते रहो, शाकाहारी नशा मुक्ति बनाते रहो।
नौजवानों के लिए विशेष संदेश
विशेष रूप से नौजवानों को ध्यान देने की जरूरत है। आप अगर शाकाहारी नशा मुक्त नहीं बनोगे तो दिल-दिमाग बुद्धि सही नहीं रहेगी। आप अपने बच्चों पर ध्यान रखो। अगर ध्यान नहीं रखोगे, गृहस्थ धर्म का पालन नहीं करोगे तो यही बच्चे बिगड़ते चले जाएंगे।