कांग्रेस के वरिष्ठ नेता बीजेपी के खेमे में जा रहे हैं और कांग्रेस अपने ही नेताओं को भ्रष्ट बता रही है. वे "ईडी, सीबीआई" के डर से नहीं बल्कि अपने राजनीतिक भविष्य को देखते हुए भाजपा में शामिल हो रहे हैं।
Senior Congress leaders are joining the BJP camp




NBL, 19/02/2024, Lokeshwar Prasad Verma Raipur CG: Senior Congress leaders are joining the BJP camp and Congress is calling its own leaders corrupt. They are joining BJP not out of fear of “ED, CBI” but considering their political future. पढ़े विस्तार से...
आरोप-प्रत्यारोप लगाना राजनीति का हिस्सा है और आप बीजेपी के पीएम नरेंद्र मोदी को हर भाषण में ये कहते हुए सुनते हैं कि कांग्रेस भ्रष्टाचारियों की पार्टी है, लेकिन कांग्रेस खुद कहती नजर आती है कि हमारे कांग्रेस नेता भ्रष्ट हैं. जो लोग खुद को बचाने के लिए ईडी, सीबीआई, आईटी के डर से बीजेपी में शामिल हो रहे हैं, कांग्रेस का यह सब कहना देश के लोकतंत्र के लिए अजीब लगता है और बीजेपी के पीएम नरेंद्र मोदी के कांग्रेस पर लगाए गए आरोप सच लगते हैं।
यह सच है कि कांग्रेस भ्रष्टाचारियों की पार्टी बन कर रह गयी है, लेकिन यह पूरी तरह सच नहीं है. कि कांग्रेस के सभी नेता भ्रष्ट हैं और वे ईडी, सीबीआई, आईटी के डर से बीजेपी के खेमे में आ रहे हैं. ये बात अलग है कि अब कांग्रेस का कद बीजेपी के सामने बौना हो गया है, धीरे-धीरे कांग्रेस का वर्चस्व गिर रहा है और बीजेपी की साख मजबूत होती जा रही है, और राजनीति करने वाले नेताओं की एक ही भूख है. इनकी दौलत से भी बड़ी दौलत होती है राजनीति में इनका बढ़ता कद और जनता की सेवा और जनता का प्यार ही इन नेताओं की सबसे बड़ी पूंजी है।
यही लोकतंत्र सेवा प्रेम ही इन नेताओं की खुशी और शांति है. ऐसा प्रतीत होता है कि अब कांग्रेस इस भूख की कमी को पूरा करने में विफल हो रही है, जो इन नेताओं की राजनीतिक भूख को संतुष्ट कर सकती है। फिलहाल इन नेताओं की भूख मिटाने वाली ताकतवर पार्टी भारतीय जनता पार्टी और पीएम नरेंद्र मोदी का जनाधार है. इसलिए, कांग्रेस के सच्चे देशभक्त और ईमानदार नेता अपने उज्ज्वल भविष्य को देखते हुए भाजपा के खेमे में शामिल हो रहे हैं और वर्तमान में भाजपा उनके लिए बिल्कुल उपयुक्त है।
देश के लोकतंत्र को इस सच्चाई को स्वीकार करना चाहिए कि बीजेपी की पीएम नरेंद्र मोदी सरकार विपक्षी दल और कांग्रेस पार्टी के सभी नेताओं में डर पैदा कर रही है. भ्रष्टाचार मुक्त भारत नाम पर पीएम मोदी विपक्षी दल और कांग्रेस पार्टी के सभी नेताओं में भय पैदा कर रहे हैं। विपक्षी दलों के भ्रष्ट नेताओं के पास केंद्रीय जांच एजेंसियां भेजी जा रही हैं।
लेकिन यह कैसे माना जा सकता है कि भाजपा ने उन्हें अपने पाले में लाने के लिए केंद्रीय जांच एजेंसियों को तैनात किया है, क्या यह साबित करने के लिए कोई सबूत है कि विपक्षी दलों के भ्रष्ट नेता अपनी पार्टी छोड़कर भाजपा में शामिल हो रहे हैं? क्या विपक्ष के पास अपने भ्रष्ट नेताओं की कोई सूची है या क्या विपक्षी दलों के इतने नेताओं के भाजपा में शामिल होने के बाद देश की केंद्रीय जांच एजेंसियां जांच नहीं करेगी, क्या उनके पास कोई सूची है क्योंकि वे अब भाजपा में शामिल हो गए हैं तो केंद्रीय जाँच एजेंसियां जाँच करना बन्द कर देगी। विपक्षी दलों के प्रमुखों या उनके नेताओं का इस तरह से बोलना अजीब लगता है देश के लोकतंत्र को कि वे पीएम मोदी सरकार के डर से बीजेपी में शामिल हो रहे हैं. विपक्षी दल कह रहे हैं कि हमारे नेता भ्रष्ट हैं, जबकि विपक्षी दलों के नेता अपनी पार्टी के गिरते वर्चस्व को देखकर भाजपा में शामिल हो रहे हैं, हम जिन नेताओं ने इतने वर्षों तक लोकतंत्र की सेवा की है, उन्हें पूर्व नेता कहलाने की कोई जरूरत नहीं है, मंत्री और विधायक. इसलिए हम बीजेपी में शामिल होकर मौजूदा नेता बनना पसंद करते हैं।
इसी सोच के साथ हम बीजेपी में शामिल हो रहे हैं और यही सच्चाई है, नहीं हम केंद्रीय जांच एजेंसियों के डर से बीजेपी में शामिल हो रहे हैं, नहीं हम विपक्षी पार्टियों के नेता भ्रष्ट हैं, अगर हमारी विपक्षी पार्टी हमें भ्रष्ट मानती है तो हम नेता विपक्षी पार्टी के भ्रष्ट पालक विपक्षी पार्टी के है। जो विपक्षी दल अपने आप को खुद से भ्रष्टाचारी पालक पार्टी समझती है।
भाजपा के पीएम नरेंद्र मोदी राष्ट्र निर्माण की बात करते हैं और सनातन धर्म संस्कृति के ब्रांड एंबेसडर हैं, जो भारत के हिंदुओं का गौरव बढ़ा रहे हैं, वहीं अन्य धर्मों के लोगों को भी विनम्रतापूर्वक सबका साथ सबका विकास से भाजपा अपनी देश हित नीति से जोड़ रहे हैं। पीएम मोदी की सरकार मुस्लिम बहनों को तीन तलाक से मुक्ति दिलाने में सफल रही और देश की अल्पसंख्यक आबादी को बिना किसी भेदभाव के सभी योजनाओं का लाभ दे रही है. बीजेपी की पीएम मोदी सरकार ने कई ऐसे सख्त कदम उठाए हैं जिसमें उन्होंने अपना राजनीतिक फायदा व नुकसान भी नहीं देखा और देशहित में लिया गया ये सख्त फैसला देश के लोकतंत्र को पसंद आया और उन्होंने इसका समर्थन किया. बीजेपी ईमानदारी से देश के लोकतंत्र को विश्वास दिलाती रही।
हम बीजेपी वाले पीएम नरेंद्र मोदी हैं तो ये संभव है, बीजेपी पीएम मोदी के राष्ट्रहित के फैसले से विपक्षी दलों का दबदबा कम होने लगा और बीजेपी का दबदबा बढ़ने लगा. और अब विपक्षी दलों के नेताओं की हिम्मत टूटने लगी है कि पीएम नरेंद्र मोदी के बढ़ते ग्राफ के साथ बीजेपी अपना राजनीतिक ग्राफ कैसे बढ़ाती जा रही है, इसी के चलते आज विपक्षी दलों के नेता अपनी सोचने समझने की शक्ति खो चुके हैं बेतुके बयान दे रहे हैं. जिसके कारण उन्हें अपनी ही बातों पर शर्मिंदगी महसूस होती है। पीएम नरेंद्र मोदी सरकार से बीजेपी को काफी राजनीतिक लाभ मिला और देश को देशहित में एक ईमानदार प्रधानमंत्री मिला।
अतीत में कांग्रेस ने लंबे समय तक सत्ता में रहकर देश पर शासन किया और देश की प्रगति में बहुत से योगदान दिया, लेकिन उनके शासन के दौरान बहुत भ्रष्टाचार हुआ, कई घोटाले हुए, जिसके कारण देश की विकास गति में कई बाधाएँ आयी और कांग्रेस के इतने लंबे शासनकाल में जो तेजी से विकास होना चाहिए था जो वह नहीं कर पाई, उससे कहीं ज्यादा वर्तमान में 2014/2024 तक बीजेपी के शासनकाल में पीएम नरेंद्र मोदी की सरकार ने भारत में ऐसा विकास किया, जिससे देश के लोकतंत्र को भरोसा हुआ. और ये बात बीजेपी नेता और पीएम मोदी खुद से कहते हैं. और यही बीजेपी पीएम मोदी सरकार की सबसे बड़ी गारंटी है।
और पीएम मोदी सरकार की गारंटी को देश देख भी रहा है और समझ भी रहा है और फिलहाल देश में कांग्रेस के पास देश की जनता के लिए ऐसे राष्ट्रहित निर्माण का कोई ठोस विजन नहीं है. राहुल गांधी द्वारा शुरू की गई न्याय यात्रा में राष्ट्र निर्माण की बातें न तो देखी जा रही है और न ही सुनी जा रही है; देश के लोकतंत्र में सिर्फ जाति गणना और तुष्टिकरण की राजनीति देखने को मिल रही है, कांग्रेस नेता राहुल गांधी का अपना नजरिया देश हित में हो सकता है लेकिन लोकतंत्र में उनके देश हित नजरिया का कोई खास असर नहीं होता है यही कांग्रेस का पतन का मुख्य कारण है।
इसकी भाषण स्क्रिप्ट कौन लिख कर राहुल गांधी को देता है, जिससे देश के लोकतंत्र पर कोई असर नहीं पड़ता, जैसे उनके किसी एक चाटुकार नेता ने कहा कि वह 22 जनवरी को श्री राम प्राण प्रतिष्ठा अयोध्या में नहीं जाना है, तो कांग्रेस के मुख्य नेता श्री राम प्राण प्रतिष्ठा में नही गया। किसी ने कांग्रेस मुख्य नेता को कहा कि यह श्री राम प्राण प्रतिष्ठा भारतीय जनता पार्टी और आरएसएस का राजनीतिक कार्यक्रम है और कुछ नेताओं ने कांग्रेस से यह भी कहा कि अगर वे इस श्री राम प्राण प्रतिष्ठा में जाएंगे तो देश के मुसलमान नाराज हो जाएंगे।
और मुस्लिम वोटों का असर हमारी कांग्रेस पर भी पड़ेगा, कांग्रेस आज देश में जिस मजबूती के साथ खड़ी है वो भी खत्म हो जाएगी. कांग्रेस परिवार के मुख्य नेताओं को झूठा ज्ञान देते रहते हैं, कुछ नेता इस तरह से कांग्रेस की चापलूसी कर कांग्रेस को बर्बाद कर रही है। कांग्रेस के अन्य बुद्धिमान वरिष्ठ नेताओं की राजनीतिक भविष्य को खतरे में डाल रहे हैं और अब देश के लोकतंत्र को कांग्रेस पर से भरोसा उठ रहा है और अब इसका फायदा भाजपा को मिल रहा है।
एक भी अच्छे भाषण कांग्रेस नेता राहुल गाँधी व उनके नेता नहीं देते कोई न कोई विवादित तथ्यहिन भाषण देते रहते है लगता है मानों कांग्रेस देश में विकास नीति की एजेंडे पर बात नही करता निजी पीएम नरेंद्र मोदी के एजेंडे को टारगेट में लेकर भाषण देते हैं, खुद कांग्रेस के कद्दावर नेता लोग तंग आ गया है कांग्रेस के परिवार वादी नेता व राहुल गाँधी के तथ्यहिन भाषणों से अब ज्यादा चमचागिरी इन कांग्रेस के वरिष्ठ नेताओं को पसंद नहीं आ रहा है, इसलिए कांग्रेस छोड़ बीजेपी में शामिल हो रहे।
और कांग्रेस कह रहा है हमारे नेता ED, CBI, IT. के डर से बचने के लिए बीजेपी में शामिल हो रहे हैं, इन जाँच एजेंसियों के डर से नही आप कांग्रेस परिवारवादियों के डर से कांग्रेस छोड़कर बीजेपी ज्वाइन कर रहे हैं, पीएम नरेंद्र मोदी के बढ़ते ग्राफ को देखते हुए ऐसा देश में राजनीति करने वाले सभी नेता चाहते हैं कि हमारे दल के प्रमुख नेता दमदार वजनदार होना चाहिए जो कांग्रेस मे अब नही दिखता और खासकर राहुल गाँधी के अंदर मोदी की तरह दमखम कभी नहीं दिखता कभी लिटर को किलो और किलो को लिटर कहते हैं राहुल बाबा जो आए दिन सोशल मीडिया पर ट्रेंड टॉप पर आपके भाषणों पर कॉमेडी चलते रहते हैं, आप कांग्रेस नेता राहुल गाँधी जी आपका देश हित विजन गलत नही है, लेकिन आपका उल्टा सीधा रट्टा भाषण देना गलत रहता है जो देश के लोकतंत्र को भाता नही है और भाषण में ही राशन है।