मस्तूरी जनपद का एक ऐसा पंचायत जहां महिला सरपंच ने कई ऐसे काम कर दिखाए जो डेढ़ दशक में नहीं कर पाए कोई सरपंच जाने आखिर वो पंचायत सरपंच और इनके दमदार कार्य क्या हैं पढ़े पूरी खबर

मस्तूरी जनपद का एक ऐसा पंचायत जहां महिला सरपंच ने कई ऐसे काम कर दिखाए जो डेढ़ दशक में नहीं कर पाए कोई सरपंच जाने आखिर वो पंचायत सरपंच और इनके दमदार कार्य क्या हैं पढ़े पूरी खबर
मस्तूरी जनपद का एक ऐसा पंचायत जहां महिला सरपंच ने कई ऐसे काम कर दिखाए जो डेढ़ दशक में नहीं कर पाए कोई सरपंच जाने आखिर वो पंचायत सरपंच और इनके दमदार कार्य क्या हैं पढ़े पूरी खबर

बिलासपुर//आज हम आपको मस्तूरी ब्लाक के रिस्दा पंचायत के बारे में बताने जा रहे हैं जहां डेढ़ दशक में कई सरपंच बदले गए पर किसी ने इतनी हिम्मत नहीं दिखाई जितनी हिम्मत वर्तमान महिला सरपंच संतोषी ब्रिजेश्वर खांडेल ने दिखाया हैं हमसे खास बातचित में सरपंच संतोषी ब्रिजेश्वर खांडेल ने बताया की जब वो सरपंच बनी लगभग तीन साल पहले तो उनका उद्देश्य सिर्फ और सिर्फ गांव का विकास करना था और वो इसके लिए लगातार काम कर भी रही हैं वो कहती हैं की विकास से तात्पर्य ऐसे सुविधाओं से हैं जो ग्रामीणों को उनके पंचायत को मिलना तो चाहिए पर मिल नहीं रहा हैं जैसे स्वास्थ्य सम्बन्धी सुविधा,शिक्षा सम्बन्धी पेयजल सम्बन्धी ये बताती हैं की ग्रामीणों को स्वास्थ्य सम्बन्धी समस्या होती हैं तो उनको लम्बी दुरी तय कर के मस्तूरी जाना पड़ता हैं क्यों की उनकी गांव में वो सुविधा मिलती नहीं हैं वही हाई स्कूल की शिक्षा प्राप्त करने के लिए गांव के बच्चो को दूसरे गांव जाना पड़ता है जिसके वजह से अधिकांश बच्चे कक्षा 8वी के बाद पढाई छोड़ देते है इसलिए यहाँ एक हाई स्कूल की आवश्यकता हैं जिसके लिए वो लगातार जनप्रतिनिधियों अधिकारीयों से बातचीत कर प्रयास कर रही हैं छोटे बच्चो की प्रारम्भिक शिक्षा के लिए गांव में और भी आंगनबाड़ी की जरुरत हैं जिसके लिए भी ये कोशिश में लगी हैं इन्होने अपने कार्यकाल में कुछ ऐसे कार्य भी किये हैं जो अभी तक कोई जनप्रतिनिधि यहाँ नहीं करा पाए थे जैसे धान खरीदी केंद्र विद्युत् विभाग का सब स्टेशन खुलना इनके कार्यकाल का सबसे बड़ा कार्य वो बेजा कब्ज़ा हटाना माना जा रहा हैं जहां दशकों से दर्जनों एकड़ जमीन पर कब्ज़ा कर लिया गया था जिसे अब हटा दिया गया हैं इनके यहाँ अब पेयजल की समस्या भी दूर होने वाली हैं क्यों की अमृत मिशन नल जल योजना के तहत यहाँ काम शुरू हो गया हैं आपको बताते चलें कि यह वह सरपंच नहीं है जिनके प्रतिनिधि पूरा काम देखते हैं यह उन सरपंचों में है जो महिला होते हुए भी अपना पूरा काम खुद करती है इनके पति पेशे से इंजिनियर हैं जो अपना काम देखते हैं