Sahara India Payment : सहारा इंडिया के निवेशको के लिए खुशखबरी! रिलीज किए 5000 करोड़, वापस मिलेगा आपका पैसा, जल्दी से करें ये काम...
Sahara India Payment: Good news for the investors of Sahara India! Released 5000 crores, will get your money back, do this work quickly... Sahara India Payment : सहारा इंडिया के निवेशको के लिए खुशखबरी! रिलीज किए 5000 करोड़, वापस मिलेगा आपका पैसा, जल्दी से करें ये काम...




Sahara India Payment :
नया भारत डेस्क : सहारा इंडिया में करोड़ो निवेशक है जिन्हें उनके पैसे वापस नहीं मिले है, लोग और सरकार हर तरफ से जोर लगा रहे है कि निवेशको को उनके पैसे वापस मिल जाये. सुप्रीम कोर्ट आम निवेशकों को फंसे पैसे को वापस करने के निर्देश जारी कर दिए हैं. इसके तहत सेबी के पास जब्त 24 हजार करोड़ रुपये में से 5000 करोड़ रुपये निवेशकों को लौटाए जाएंगे. इस संबंध में एक याचिका पर सुनवाई करते हुए बुधवार को सुप्रीम कोर्ट ने अहम फैसला सुनाया है। यह उन निवेशकों के बड़ी राहत है, जिनका पैसा कई वर्षों से फंसा हुआ था. सहारा में छोटे निवेशकों ने बड़ी संख्या में निवेश कर रखे हैं. इस फैसले से करीब एक करोड़ निवेशकों को फायदा मिल सकता है. (Sahara India Payment)
असल में सुप्रीम कोर्ट ने अगस्त 2012 में सहारा ग्रुप की दो कंपनियों सहारा इंडिया रियल एस्टेट कॉरपोरेशन (SIRECL) और सहारा हाउसिंग इंडिया कॉरपोरेशन लिमिटेड (SHICL) को निवेशकों का पैसा लौटाने का निर्देश देने के बाद एस्क्रो अकाउंट खोले गए थे. इसके तहत 24 हजार करोड़ रुपये जमा है. केंद्र सरकार ने उसी खाते से जमा पैसों को निवेशकों को जारी करने की सुप्रीम कोर्ट में अपील की थी. (Sahara India Payment)
सरकार ने SC में दी थी याचिका
बता दें कि हाल में सरकार ने निवेशकों के पैसों का भुगतान के लिए 5,000 करोड़ रुपये अलॉट करने के लिए सुप्रीम कोर्ट से दरख्वास्त की थी. इस संबंध में सहकारिता मंत्रालय के पिनाक पानी मोहंती द्वारा एक जनहित याचिका दायर की गई थी, जिसमें कई चिट फंड कंपनियों और सहारा क्रेडिट फर्मों में निवेश करने वाले जमाकर्ताओं को राशि का भुगतान करने का निर्देश देने की मांग की गई थी. (Sahara India Payment)
सहारा फर्मों के खिलाफ CBI जांच की भी थी मांग
जनहित याचिका में सहारा फर्मों के खिलाफ केंद्रीय जांच ब्यूरो (सीबीआई) द्वारा जांच की मांग भी की गई थी और चिट-फंड कंपनियों के खिलाफ मामले की जांच के दौरान एजेंसी द्वारा अब तक जब्त की गई राशि की मांग की गई थी. जिसका उपयोग निवेशकों को वापस देने के लिए किया जाए. (Sahara India Payment)
भारत सरकार की ओर से सॉलिसिटर जनरल तुषार मेहता 18 अन्य विभागों और जांच एजेंसियों के प्रतिनिधियों के साथ मंत्रालय के तहत एक हाई लेवल मीटिंग के बाद दायर आवेदन के लिए न्यायमूर्ति एमआर शाह और सीटी रविकुमार की पीठ के समक्ष जनहित याचिका पर पेश हुए थे. इसमें भारतीय प्रतिभूति विनिमय बोर्ड (सेबी), गंभीर धोखाधड़ी जांच कार्यालय, आयकर, प्रवर्तन निदेशालय, सीबीआई, कॉर्पोरेट मामलों के मंत्रालय सहित अन्य शामिल थे. (Sahara India Payment)
सरकार ने की थी सेबी-सहारा रिफंड अकाउंट से फंड लेने की मांग
तब सेबी-सहारा रिफंड अकाउंट नामक एक फंड से 5,000 करोड़ रुपये की राशि लेने की मांग की गई थी, जो अगस्त 2012 में शीर्ष अदालत द्वारा दो सहारा फर्मों – सहारा इंडिया रियल एस्टेट कॉरपोरेशन लिमिटेड (SIRECL) और सहारा हाउसिंग इंडिया कॉरपोरेशन लिमिटेड (एसएचआईसीएल) को निर्देशित करने के बाद बनाई गई थी. (Sahara India Payment)
वापस की जा चुकी है ₹138 करोड़ की राशि
आदेश के बाद, सहारा ने ₹15,000 करोड़ से अधिक का निवेश किया और ब्याज के साथ, राशि ₹24,000 करोड़ हो गई और सुप्रीम कोर्ट के पूर्व न्यायाधीश न्यायमूर्ति (सेवानिवृत्त) बीएन अग्रवाल को रिफंड प्रक्रिया की निगरानी के लिए नियुक्त किया गया. दिसंबर 2022 तक, ₹138 करोड़ की राशि वापस कर दी गई थी जबकि ₹23,937 करोड़ की राशि अप्रयुक्त पड़ी थी. (Sahara India Payment)