मनरेगा कर्मचारियों की हड़ताल से पूरे जिले में मनरेगा के अंतर्गत होने वाले सारे कार्य ठप ग्रामीणों को भी रोजगार सम्बन्धी समस्याओ का करना पड़ रहा सामना पढ़े पूरी खबर

मनरेगा कर्मचारियों की हड़ताल से पूरे जिले में मनरेगा के अंतर्गत होने वाले सारे कार्य ठप ग्रामीणों को भी रोजगार सम्बन्धी समस्याओ का करना पड़ रहा सामना पढ़े पूरी खबर
मनरेगा कर्मचारियों की हड़ताल से पूरे जिले में मनरेगा के अंतर्गत होने वाले सारे कार्य ठप ग्रामीणों को भी रोजगार सम्बन्धी समस्याओ का करना पड़ रहा सामना पढ़े पूरी खबर

बिलासपुर,,मनरेगा योजनांतर्गत कार्यरत अधिकारी-कर्मचारी एवं ग्राम रोजगार सहायकों ने छत्तीसगढ़ मनरेगा कर्मचारी महासंघ के प्रांतीय बैठक में
लिए गए निर्णय अनुसार 2 सूत्रीय मांगों को लेकर 4 अप्रैल से हड़ताल में हैं। अपनी मांगों को लेकर 13 अप्रैल को भी कर्मचारी हड़ताल पर डटे हुए हैं। जिसके कारण ग्रामीण क्षेत्रों में मनरेगा अंतर्गत जाबकार्डधारी परिवारों को रोजगार नहीं मिल पा रहा है?
2 सूत्रीय प्रमुख मांगें हड़ताल में बैठे मनरेगा कर्मियों की दो सूत्रीय प्रमुख मांगे पहला चुनावी जन घोषणा पत्र को आत्मसात करते हुए समस्त मनरेगा कर्मियों का नियमितीकरण किया जावे एवं दूसरा नियमितीकरण की प्रक्रिया पूर्ण होने तक ग्राम रोजगार सहायकों का वेतनमान निर्धारण करते हुए समस्त मनरेगा कर्मियों पर सिविल सेवा नियम 1966 के साथ पंचायत कर्मी नियमावली लागू करना है।
मस्तूरी संघ के मिडिया प्रभारी नकुल जांगड़े ने बताया कि छत्तीसगढ़ मनरेगा कर्मचारी महासंघ के प्रांतीय आह्वान पर हम सभी मनरेगा कर्मचारी 4 अप्रैल से अनिश्चितकालीन हड़ताल / धरना प्रदर्शन पर है। जब तक हमारी मांगों को शासन गंभीरतापूर्वक नहीं लेता, तब तक हड़ता रहेगा  आपको बताते चलें कि 1 हफ्ते से भी अधिक समय से मनरेगा के अंतर्गत होने वाले सारे कार्य बाधित हो रहा है जिसके कारण ग्रामीणों को भी रोजगार उपलब्ध नहीं हो पा रहा है देखना दिलचस्प होगा कि कब तक शासन इनकी मांगों को लेकर उचित कदम उठाती है