मुख्यमंत्री ममता बनर्जी की राजनीति से बंगाल में उबाल गृह और स्वास्थ्य मंत्रालय सीएम के पास फिर भी पूर्व प्रिंसिपल पर संदीप घोस पर कार्यवाही नहीं आख़िर इतनी मेहरबानी क्यों पढ़े पूरी ख़बर




आरजी कर कांड के बाद से राज्य की चिकित्सा व्यवस्था में हड़कंप मचा हुआ है। एक युवती डॉक्टर के बलात्कार और हत्या के बाद से राज्य के जूनियर डॉक्टर हड़ताल पर हैं। कई बार काम पर लौटने की अपील की गई है,लेकिन कोई प्रभावी कदम नहीं उठाया गया पूरे बंगाल में एक ही सवाल पूछे जा रहें है कि आर जी कर हॉस्पिटल के पूर्व प्रिंसिपल को मुख्यमंत्री ममता बनर्जी क्यों नहीं हटा रही हैं ऐसी कौन सी मजबूरी है उनकी जिसके वजह से इतना बड़ा कांड करने वाले को अभयदान दिया जा रहा है जब ममता बनर्जी खुद सूबे की मुखिया है उनके अंदर स्वास्थ्य मंत्रालय और गृह मंत्रालय दोनो आता है मतलब मुख्य मंत्री ममता बनर्जी ने अपने पास ये दोनो विभाग खुद ही रखा है बावजूद इसके वो कुछ नही कर रही इसका मतलब क्या है इसी कारण बंगाल के लोग भारी अक्रोशित है उनका कहना है की मुख्य मंत्री आरोपी के खिलाफ कार्यवाही करने के बजाय न्याय के लिए शांति से प्रदर्शन कर रहे डॉक्टरों को धमका रही है
चेतावनी या धमकी ?
9 अगस्त को आरजी कर अस्पताल से एक छात्रा डॉक्टर की शव बरामद हुआ था। इस मामले में अब तक केवल एक व्यक्ति को गिरफ्तार किया गया है। हालांकि, कई आरोप हैं कि इस घटना में कई लोग शामिल हैं। इस घटना के बाद से जूनियर डॉक्टर हड़ताल पर हैं। अब मुख्यमंत्री ने उन्हें धीरे-धीरे काम पर लौटने की सलाह दी है।
मेयो रोड पर आयोजित कार्यक्रम में ममता बनर्जी ने कहा, "आज भी जूनियर डॉक्टरों की रैली चल रही है। मैं चाहती हूं कि वे इसे अच्छे से करें। उन्हें मेरा समर्थन था,है,और रहेगा। सुप्रीम कोर्ट ने भी सभी से काम पर लौटने की अपील की है। कई लोगों की मौत हुई है क्योंकि चिकित्सा सेवा नहीं मिल पाई। हमने अब तक आपके खिलाफ कोई कदम नहीं उठाया है और भविष्य में भी नहीं उठाएंगे। लेकिन अब धीरे-धीरे काम पर लौटें।"
ममता ने यह भी याद दिलाया कि सुप्रीम कोर्ट की तरफ से राज्य सरकार को कार्रवाई करने की 'ग्रीन सिग्नल' मिल चुका है। यानी, सरकार उचित कदम उठा सकती है, लेकिन मुख्यमंत्री ने बताया कि वह उस अधिकार का उपयोग नहीं करना चाहतीं।
ममता ने कहा, "मैं चाहती हूं कि वे अच्छे से पढ़ाई करें। अगर मैं किसी के खिलाफ FIR कर दूं, तो उसका भविष्य बर्बाद हो जाएगा। उसे कहीं भी अवसर नहीं मिलेगा, न ही पासपोर्ट या वीजा मिलेगा। उसे न्याय नहीं मिलेगा। उसका पूरा जीवन बर्बाद हो जाएगा। हम ऐसा नहीं चाहतीं।"
तृणमूल छात्र परिषद के स्थापना दिवस के कार्यक्रम के साथ ही जूनियर डॉक्टरों की रैली भी चल रही थी। वहां एक जूनियर डॉक्टर नेता ने सवाल उठाया कि जो संदिप घोष और विनीत गोयल के खिलाफ गंभीर आरोप हैं, उन्हें मुख्यमंत्री क्यों नहीं हटातीं ?