कांग्रेस का पलटवार : कहा BJP के प्रदर्शन को युवाओं ने नकारा,भाजपा अपनी राजनैतिक रोटी सेकने PSC पर लगा रही झूठे आरोप

पत्रकारवार्ता को संबोधित करते हुये प्रदेश कांग्रेस संचार विभाग के अध्यक्ष सुशील आनंद शुक्ला ने कहा कि सोमवार को भाजपा ने राज्य लोक सेवा आयोग की कथित गड़बड़ी का आरोप लगाकर मुख्यमंत्री निवास घेराव का असफल प्रयास किया। भाजपा के प्रदर्शन को राज्य के युवाओं ने नकार दिया है।

कांग्रेस का पलटवार : कहा BJP के प्रदर्शन को युवाओं ने नकारा,भाजपा अपनी राजनैतिक रोटी सेकने PSC पर लगा रही झूठे आरोप
कांग्रेस का पलटवार : कहा BJP के प्रदर्शन को युवाओं ने नकारा,भाजपा अपनी राजनैतिक रोटी सेकने PSC पर लगा रही झूठे आरोप

रायपुर। कांग्रेस कार्यालय राजीव भवन में पत्रकारवार्ता को संबोधित करते हुये प्रदेश कांग्रेस संचार विभाग के अध्यक्ष सुशील आनंद शुक्ला ने कहा कि सोमवार को भाजपा ने राज्य लोक सेवा आयोग की कथित गड़बड़ी का आरोप लगाकर मुख्यमंत्री निवास घेराव का असफल प्रयास किया। भाजपा के प्रदर्शन को राज्य के युवाओं ने नकार दिया। भाजयुमो के प्रदर्शन से युवा गायब रहे,भाजपा के वृद्ध नेता जो जनता के द्वारा नकारे जाने के बाद बेरोजगार हो चुके मंच पर बैठे दिखे। बमुश्किल से कुछ सौ युवा ही भाजयुमो के प्रदर्शन में पहुंचे। देश के सत्तारूढ दल के युवा इकाई के राष्ट्रीय अध्यक्ष के नेतृत्व के प्रदर्शन में बमुश्किल चार-पांच सौ लोग ही शमिल हुये।

भाजपा के पास सरकार के खिलाफ कोई मुद्दा नहीं है। भाजपा ऐसी संस्थाओं की विश्वसनीयता को संदिग्ध बनाने का षडयंत्र कर रही है। जिन पर प्रदेश के युवाओं को भरोसा है। राज्य लोक सेवा आयोग ऐसी संस्था है जो पढ़े लिखे युवाओं के सपनों को साकार करती है। बिना किसी ठोस आधार के अपनी दूषित कल्पना शीलता के आधार पर पीएससी जैसी संस्थाओं पर सवाल खड़ा किया जाना आपत्तिजनक है। यह ऐसा प्रकरण है जिसमें शिकायतकर्ता कोई नहीं है सिर्फ राजनैतिक दल अपनी राजनैतिक रोटी सेक रहा और CBI जांच की मांग कर रहा है।

वर्तमान में राज्य लोक सेवा आयोग के परीक्षा परिणामों पर ऐसा कोई भी आरोप नहीं लगा है,उसके बावजूद गड़बड़ी के मनगढ़ंत आरोप लगाना भारतीय जनता पार्टी का निम्न स्तरीय हथकंडा है। पीएससी के सफल परीक्षार्थियों की उत्तर पुस्तिका उनकी अंकतालिका पीएससी की वेबसाइट पर सार्वजनिक है। अभ्यर्थी उसको देख सकता है। किसी अभ्यर्थी ने कोई भी गड़बड़ी का आरोप नहीं लगाया है। किसी मेरिट में चयनित अभ्यार्थियों के लिखित परीक्षा की अपेक्षा व्यक्तित्व परीक्षण के अचंभित करने वाले या संदेहास्पद नंबर मिले हो तो भी उसके आधार पर चयन सूची पर सवाल खड़ा किया जाये तो भी तार्किफ लगता है। लेकिन बिना किसी आधार के राज्य लोक सेवा आयोग की परीक्षा के परिणाम में सवाल खड़ा किया जाना भाजपा को मानसिक और राजनैतिक दिवालियेपन को दर्शाता है। राज्य के युवा इसको कदापि बर्दास्त नहीं करेंगे।

भाजपा के पास पीएससी की चयन सूची में गड़बड़ी के आरोपों का आधार क्या है? सिर्फ यही कि पीएससी में नेताओं, अधिकारियों, व्यवसायियों के बच्चों के कुछ नाम चयनित हो गये हैं। भाजपा को आपत्ति है कि पीएससी में सगे भाई-बहन, पति-पत्नी का चयन कैसे हो गया? भारतीय जनता पार्टी के समय भी 2004 से 2021 तक भी परस्पर सबंधियो के चयन होते रहे है। हम इसकी सूची सार्वजनिक कर चुके है।